कवर्धा जैन समाज का उत्साही कार्यकर्ता श्री दिनेश श्रीश्रीमाल मासक्षमण की तपस्या पुरी कर। आगे बढ़ रहे उनके तप की बारम्बार अनुमोदना
कवर्धा जैन संघ में चातुर्मास कर रही महासाध्वी श्री विजयश्रीजी आर्य महा साध्वी प्रिय दर्शना श्रीजी प्रियदा के सानिध्य में धर्म ध्यान त्याग तपस्या की अलख जगी हुई है इन चातुर्मास में मास में हर कोई तपस्या करने की भावना रखता हे उसी क्रम में कवर्धा जैन समाज के उत्साही कार्यकर्ता घोर तपस्वी श्री दिनेश जी श्रीश्रीमाल मासक्षमण तपस्या की तपस्या पूर्ण कर आगे की ओर अग्रसर है
अपने यशस्वी जीवन के आज चतुर्थ मासखमण की श्रंखला बना चुके है। धार्मिक गतिविधियों के अतिरिक्त वे सामाजिक राजनीतिक क्षेत्र में भी दखल रखते है।सामूहिक प्रसंगों पर उनका संचालन अविस्मरणीय माना जाता है । चारित्र आत्माओं की सेवा सुश्रुषा मे वे सदैव अग्रणी रहते हैं । अतीत में अपनी धर्म सहायिका सौ हर्षा श्रीश्रीमाल के साथ भी संयुक्त मासखमण कर चुके हैं । बहुमुखी प्रतिभा के धनी जैन समाज के सक्रिय कार्यकर्ता दिनेश जी प्रगति के सोपानों पर अग्रसर होते रहे हैं